देश भर के कई राज्यों में रबी फसलों की खरीद किया जा रहा है। ऐसे में किसानों को अपनी फसल को ज्यादा से ज्यादा न्यूनतम समर्थन मूल्य यानी एमएसपी रेट पर खरीद किया जा सके। इसको लेकर मध्य प्रदेश राज्य सरकार की तरफ से किसानों के हित में बड़ा फैसला किया गया है।
मध्यप्रदेश राज्य में Gehu MSP Purchase अपडेट
सरकार का यह फैसला जिसमें सभी उपार्जन केन्द्रों पर आने वाले दिन 18 अप्रैल व 19 अप्रैल 2025 के सार्वजनिक अवकाश रहेगा लेकिन इसके बावजूद किसानों से गेहूं की खरीद का कार्य को जारी रखा जाएगा। इसको लेकर किसान स्लॉट बुक कराया जा सकता है। जानकारी के लिए बताना चाहेंगे कि 18 अप्रैल को शुक्रवार जो कि गुड फ्राइडे का छुट्टी है।
राज्य सरकार के द्वारा गेहूं की खरीद (Wheat Purchase) को लेकर सभी ट्रेसी सुविधाओं पर ध्यान दिया जा रहा है और इसी के चलते मध्य प्रदेश की खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री गोविंद सिंह राजपूत की ओर से कहा गया है कि इस फैसले के बाद किसानों की सुविधा को देखते हुए उनके हितों को ध्यान में रखते हुए लिया गया। ताकि उपार्जन प्रक्रिया के दौरान किसी भी तरह का व्यवधान न आए। किसानों के द्वारा इन दिनांक के दौरान स्लॉट बुक करने के बाद बिना किसी परेशानी के अपना गेहूं को बेंच पाएंगे। जिसको लेकर सभी व्यवस्था सुनिश्चित किया जा रहा है।
खाद्य मंत्री की ओर से कलेक्टरों को दिया गया निर्देश
बता दे कि खाद्य मंत्री के द्वारा सभी जिलों के कलेक्टरों को निर्देश दिया गया जिसमें उनको अपने-अपने जिलों में उपार्जन केंद्रों का निरंतर मॉनीटरिंग किया जाए। उपार्जन के कार्य से संबंधित कर्मचारियों, अधिकारियों व एजेंसियों को भी सख्त हिदायत दिया गया। किसानों को कतर में लंबे समय तक हर नहीं करना पड़े। गेहूं तलाई, रख-रखाव, भुगतान व परिवहन को लेकर सभी व्यवस्थाएँ समय के साथ और पारदर्शिता से किया जाए।
खाद्य मंत्री के अनुसार कि किसानों को अपने उत्पाद को बेचने को लेकर अनावश्यक परेशानियों का सामना नहीं करना पड़े। जिसके लिए अवकाश के दिन पर भी उपार्जन कार्य जारी रखा जाएगा। वही इसके अलावा सभी जुड़े हुए विभागों को इसके लिए जरूरी संसाधनों के साथ-साथ कर्मचारियों की उपलब्धता (Availability) सुनिश्चित किए जाने का निर्देश (Instruction) जारी किया जा चुका है। उनके द्वारा साफ किया गया है। कि किसी भी उपार्जन केन्द्र पर लापरवाही या फिर अनियमितता को लेकर शिकायत मिलता है तो जिम्मेदार अधिकारियों और कर्मचारियों के विरुद्ध तत्काल कठोर कार्रवाई किया जाएगा।